विधानसभा चुनाव के लिए दावेदारों की लंबी सूची से बढ़ी ब्लॉक अध्यक्षों की उलझने
भिलाई। आगामी विधानसभा में चुनाव लड़ने के लिए दावेदारों द्वारा आवेदन जमा करने की अंतिम तिथि समाप्ति के बाद सभी ब्लॉक कांग्रेस अध्यक्षों की उलझने बेहद बढ़ गई है क्योंकि पांच-पांच दावेदरों के नाम ही पैनल बनाकर उपर भेजना है।
एक ओर जहां सबसे कम जिले के सीएम के विधानसभा क्षेत्र में केवल एक सीएम भूपेश बघेल का आवेदन आया है तो सबसे अधिक आवेदन वैशाली नगर से 71 लोगों का आवेदन आया है। जबकि अहिवारा, भिलाई नगर, वैशाली नगर, दुर्ग शहर और दुर्ग ग्रामीण में दावेदारों की होड़ मचने से पांच नाम का पैनल बनाना ब्लॉक कांग्रेस अध्यक्षों के लिए चुनौतीपूर्ण हो गया है। कई ब्लॉक अध्यक्षों के पास आवेदन बहुत कुछ ऐसे लोगों का भी आवेदन आया है
जो पार्षद चुनाव भी नही जीत सकते। तो कुछ के तो आम जनता तो दूर उनके स्वयं रिश्तेदारों के बीच ही उनकी छवि ठीक नही है। विधानसभा चुनाव में प्रत्याशी चयन के कांग्रेस पार्टी की निर्धारित प्रक्रिया के तहत ब्लॉक कांग्रेस अध्यक्षों को बायोडाटा सौंपने की अंतिम तिथि खत्म होने के बाद पांच-पांच नाम का पैनल तैयार कर जिला कांग्रेस कमेटी के अध्यक्षों को भेजा जाना है।
दुर्ग जिले में छह विधानसभा क्षेत्र है और इसमें से केवल पाटन विधानसभा ही ऐसा सीट है जहां से मुख्यमंत्री भूपेश बघेल एकलौते दावेदार हैं। बाकी के पांचों विधानसभा में दावेदारों की संख्या काफी अधिक होने से पांच-पांच नाम का पैनल तय करने में ब्लॉक कांग्रेस अध्यक्षों को उलझन भरी परिस्थितियों का सामना करना पड़ सकता है।
ऐसे में इस बात की संभावना से इंकार नहीं किया जा रहा है कि प्रदेश कांग्रेस के आला नेताओं से मार्गदर्शन लेने के बाद ही ब्लॉक अध्यक्ष पांच नाम का पैनल तैयार कर जिला अध्यक्ष के हवाले करेंगे। गौरतलब रहे कि कांग्रेस प्रत्याशी चयन के लिए पार्टी ने 17 से 22 अगस्त तक इच्छुक दावेदारों से संबंधित ब्लॉक कांग्रेस अध्यक्षों के पास आवेदन पत्र आमंत्रित किया था। इस प्रक्रिया में जिले के छह विधानसभा में 153 ने दावेदारी की हैए जिसमें 23 महिलाएं भी शामिल हैं। सबसे अधिक 71 लोगों ने वैशाली नगर से कांग्रेस प्रत्याशी बनने अपनी इच्छा जताते हुए ब्लॉक कांग्रेस अध्यक्षों को बायोडाटा सौंपा है। इसी तरह अहिवारा से 32ए भिलाई नगर से 22ए दुर्ग शहर से 21 और दुर्ग ग्रामीण से 12 की दावेदारी सामने आई है।
जबकि पाटन से मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ही एकमात्र दावेदार हैं। 24 अगस्त को प्रत्येक विधानसभा से पांच नाम का पैनल तैयार कर जिला कांग्रेस अध्यक्षों को सौंप दिया जाएगा। यहां पर यह बताना भी लाजिमी है कि पिछले चुनाव में जिले के छह में से पांच विधानसभा में कांग्रेस का परचम लहराया था। सिर्फ वैशाली नगर में ही भाजपा की जीत हुई थी। भाजपा से विधायक रहे विद्यारतन भसीन का कुछ दिन पहले ही निधन हो गया है। वैशाली नगर से कांग्रेस प्रत्याशी बनने मची होड़ को फिलहाल यह क्षेत्र का किसी के परम्परागत नहीं होने से जोड़कर देखा जा रहा है। बाकी सीटों पर कांग्रेस का कब्जा होने से मौजूदा विधायक को फिर एक बार मौका दिए जाने की संभावना से इंकार नहीं किया जा रहा है। फिर भी उम्मीदों पर दुनिया कायम है वाली कहावत जिले में पाटन को छोड़ कर बाकी सीटों पर कांग्रेस प्रत्याशी चयन प्रक्रिया में देखने को मिली है। ग्रामीण और शहर जिला अध्यक्ष ने भी की दावेदारी विधानसभा चुनाव में प्रत्याशी बनने की इच्छा जिला कांग्रेस अध्यक्षों ने भी जताते हुए ब्लॉक अध्यक्षों को बायोडाटा सौंपा है।
जिला कांग्रेस कमेटी दुर्ग ग्रामीण के अध्यक्ष और भिलाई-चरोदा निगम महापौर निर्मल कोसरे ने अहिवारा विधानसभा से से टिकट की दावेदारी पेश किया है। अहिवारा में अभी मंत्री गुरु रुद्र कुमार विधायक हैं। अहिवारा से सेवानिवृत्त पुलिस अधिकारी कविलाश टंडन ने भी दावेदारी की है। जबकि भिलाई शहर जिला कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष मुकेश चन्द्राकर ने वैशाली नगर विधानसभा से टिकट के लिए आवेदन किया है। इसके अलावा पूर्व राज्यमंत्री बदरुद्दीन कुरैशी ने भिलाई के साथ साथ वैशाली नगर से भी दावेदारी पेश किया है। पूर्व विधायक प्रतिमा चंद्राकर ने फिर एक बार दुर्ग ग्रामीण से चुनाव लडऩे की इच्छा जताते हुए आवेदन किया है। वैशाली नगर से पूर्व महापौर नीता लोधीए पूर्व जिला कांग्रेस अध्यक्ष तुलसी साहू और मौजूदा जिला पंचायत अध्यक्ष पुष्पा यादव ने भी दावेदारी पेश की है।